शारिब हाशमी के मुताबिक अपने पहले प्रोजेक्ट का ऑफर पाने के लिए उन्हें तीन साल तक ऑडिशन देना पड़ा था।
दर्शकों को रूबरू कराया है। बीते दिनों वह फिल्म 'तरला' में नजर आए। इंडस्ट्री में खुद को स्थापित कर चुके शारिब काफी संघर्षों से गुजरे हैं। मगर, मुश्किल दौर में उनकी पत्नी उनका सहारा बनी रहीं
उनका करियर बनाने के लिए उनकी पत्नी ने अपने गहने तक बेच दिए थे।
। उन्होंने बताया कि अपने पहले प्रोजेक्ट का ऑफर पाने के लिए उन्हें तीन साल तक ऑडिशन देना पड़ा था। इस दौरान उनका परिवार आर्थिक तंगी से गुजर रहा था।
इतना ही नहीं शारिब हाशमी के मुश्किल दिनों में गुजारा करने के लिए उन्हें अपना घर तक बेचना पड़ा था।
शारिब ने कहा कि वर्ष 2003 में उनकी शादी हुई और 2009 में उन्होंने फिल्मों में अपनी किस्मत आजमाने के लिए एमटीवी में इन-हाउस राइटर की नौकरी छोड़ने का फैसला किया।
तो उस समय उनके पास कोई नौकरी नहीं थी। हालांकि फिर भी उन्होंने कोशिश जारी रखी और तय कर लिया कि वह फिल्मों में जरूर काम करेंगे।
मुझ पर मेरी पत्नी और हमारे बच्चे की जिम्मेदारियां भी थीं। सेविंग्स खत्म होने लगी तो दोस्तों से कर्ज लेना शुरू किया। अपना घर बेच दिया। समय के साथ मेरी उम्मीद भी जवाब देने लगी थी।